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नगर परिषद बकहो में लगभग 170 से 175 कर्मचारी कार्यरत हैं लेकिन नगर परिषद बकहो विकास के मामले में कोसों दूर है। आखिर क्यों..?

ब्रिजेश शर्मा

नगर परिषद बकहो में लगभग 170 से 175 कर्मचारी कार्यरत हैं लेकिन नगर परिषद बकहो विकास के मामले में कोसों दूर है 

इन कर्मचारियों मे से कितने कर्मचारी हैं जो नगर परिषद में उपस्थित रहते हैं कितने कर्मचारी ऐसे भी हैं जो अपने घर में रहकर के वेतन उठाते हैं 

 

शहडोल जिले के नगर परिषद बकहो में किसके आदेश से की गई 170 से 175 कर्मचारियों की भर्ती क्या यह भर्ती अध्यक्ष उपाध्यक्ष व सीएमओ के जानकारी में नहीं है नहीं है। यदि है तो हर वर्ष कैसे होता है इनका कर्मचारियों का वेतन भुगतान 1 वर्ष में लगभग 3 करोड़ से 3 करोड़ 50 लाख तक का हो चुका है इन कर्मचारियों का वेतन भुगतान आज 4 साल हो रहे हैं। परिषद में उपस्थित गाड़ियों का नंबर प्लेट तक नहीं आ पाया  और कचरा गाड़ी के ड्राइवर तक नहीं है लेकिन कचरा गाड़ी में डीजल रोज डाला जाता है। वही इतनी बड़ी परिषद होने के बाद भी आज तक परिषद में एक एम्बुलेंस तक नहीं है। उपस्थित

टैक्टर चालक जो की कर्मचारी हैं फिर भी सभी वार्डों तक पानी नहीं पहुंच पाता है। पानी का उपयोग निर्माण कार्यों में रोड नाली अन्य निर्माण कार्यों के लिए ठेकेदार के द्वारा नहीं कटाया जाता पर्ची डायरेक्ट पानी लिया जाता है लेकिन परिषद में 15 वार्ड हैं उन वार्डों में पानी सही ढंग से नहीं पहुंचा रहा है।

फायरमैन की भर्ती तो 2020 में ही हुई थी लेकिन आज दिनांक तक उनके द्वारा फायर ब्रिगेड गाड़ी नहीं चलाया गया एक इलेक्ट्रिशियन कर्मचारि के द्वारा गाड़ी चलाया जाता है। जो इलेक्ट्रीशियन के पद पर नियुक्त हैं चंद्र प्रकाश पांडे उन्हीं के द्वारा फायरमैन गाड़ी चलाया जाता है इंजीनियर का काम होता है कि निर्माण कार्यों की जांच करें लेकिन यहां वेतन भोगी कर्मचारी 8 से 10 ऐसे हैं जो इंजीनियर के कहे अनुसार निरीक्षण करने जाते हैं अध्यक्ष उपाध्यक्ष बताएं इतने कर्मचारियों की आवश्यकता क्यों है परिषद में जबकि परिषद का पूरा कार्य पूर्ण हो चुका है जैसे बसाहट बनाना समग्र आईडी केवाईसी करना वार्डों का निरीक्षण करना घरों के टैक्स का निरीक्षण करना लेखा-जोखा करना सरकारी भूमि का निरीक्षण करना व अन्य कार्य अब तो कोई कार्य नहीं बचे हैं परिषद में फिर भी इतने कर्मचारियों को क्यों रखा गया है शासन का व क्षेत्र के लोगों के पैसे का दुरुपयोग क्यों किया जा रहा है।

नगर परिषद बकहो में जो अतिक्रमण प्रभारी व निर्माण कार्य प्रभारी हैं उनसे पूछा जाए कि जितने निर्माण कार्य हो रहे हैं। क्या वह लोग परमिशन लिए हैं। परिषद् से आदेश लिए हैं। तो आपको पता चलेगा कि 5% लोग ही परमिशन व आदेश लिए हैं बाकी सभी दमदारी से निर्माण कार्य कर रहे हैं।

जैसे नेशनल हाईवे रोड के बगल में विष्णु केवट नगर परिषद बकहो के अध्यक्ष पति है जो कि अपना घर व दुकान का निर्माण कार्य कर रहे हैं। ओरिएंट पेपर मिल के भूमि पर इन्हीं के जैसे और भी व्यक्ति निर्माण कार्य में लगे हुए हैं।

(कभी भी हो सकती है।कोई बड़ी घटना)

बकहो क्षेत्र के सड़क किनारे जहां नाली निर्माण कराए गए हैं ।आज भी उन जगहों पर उस नाली को बंद नहीं किया गया यह साफ-साफ दर्शाता है कि कभी भी इन खुले नालियों में कोई बड़ी घटना घट सकती है। वही बात करें तो वार्ड क्रमांक 13 में आज करीब 5 महीने पूर्व से नाली निर्माण के लिए आवेदन दिया गया है।परंतु आज तक नाली निर्माण नहीं कराया गया।

आगे और भी चीजों का करेंगे बड़ा खुलासा 

 

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